बिहार बिहार के मुख्य सचिव पहुंचे भोजपुर के सहार के मुसहर टोली में, किया विकास कार्यों का निरीक्षण
विश्वविख्यात सहार का एकवारी और बरुही गांव कभी नरसंहार के लिए था मशहूर

संजय शाश्वत
बिहार के मुख्य सचिव अमृत लाल मीणा भोजपुर के सहार क्षेत्र के एकवारी और बरुही गांव में पहुंचे जहां वे लोगों से मिले और महादलित टोलों का निरीक्षण किया. . . अमृत लाल मीणा के साथ अनुसूचित जाति एवं अनुसूचित जनजाति कल्याण विभाग के सचिव दिवेश सेहरा,निदेशक श्याम बिहारी मीणा ने सहार प्रखंड के एकवारी एवं बरूही गांव स्थित महादलित टोलों का भ्रमण किया.
भ्रमण के दौरान उन्होंने सरकारी योजनाओं के क्रियान्वयन की वर्तमान स्थिति का जायजा लिया. इस दौरान सार्वजनिक वितरण प्रणाली (राशन कार्ड), उज्ज्वला योजना, आंगनबाड़ी सेवाएं, औपचारिक शिक्षा हेतु विद्यालय में दाखिला, मुख्यमंत्री कन्या उत्थान योजना, प्रधानमंत्री मातृ वंदना योजना, जन्म एवं मृत्यु प्रमाण पत्र, आधार कार्ड निर्माण, प्रधानमंत्री आवास योजना-ग्रामीण, आयुष्मान भारत कार्ड, हेल्थ कैंप, वास-भूमि, वास-गीत पर्चा जैसी योजनाओं की बारीकी से समीक्षा की.
मुख्य सचिव ने मुख्यमंत्री कन्या विवाह योजना, बुनियाद केंद्र से जुड़े कार्यक्रम (चश्मा वितरण, हियरिंग ऐड, तिपहिया साइकिल वितरण), दिव्यांगजन योजनाएं (राष्ट्रीय नि:शक्तता पेंशन, बिहार नि:शक्तता पेंशन योजना, दिव्यांग कार्ड, दिव्यांग विवाह योजना), मनरेगा जॉब कार्ड, अटल पेंशन योजना, प्रधानमंत्री जनधन योजना, बिजली कनेक्शन, नल-जल एवं नाली-गली योजना, जीविका समूह, ग्रामीण कार्य विभाग द्वारा संचालित मुख्यमंत्री टोला संपर्क योजना और स्वच्छ भारत मिशन (लोहिया स्वच्छता शौचालय, सामुदायिक व व्यक्तिगत शौचालय) जैसी योजनाओं का भी निरीक्षण किया.
इस दौरान अधिकारियों ने स्थानीय लोगों से फीडबैक लिया एवं उनकी समस्याओं को सुना और समझा. स्थानीय अधिकारियों के साथ बैठक करते हुए मुख्य सचिव ने सभी अधिकारियों को निर्देश दिया कि जिले के सभी महादलित टोलों का रोस्टर तैयार कर विशेष कैंपों के माध्यम से सरकार की सभी योजनाओं का शत-प्रतिशत लाभ पात्र लोगों तक सुनिश्चित किया जाए. इस अवसर पर उप विकास आयुक्त डॉ. अनुपमा सिंह, अपर समाहर्ता, अनुमंडल पदाधिकारी (आरा सदर), सिविल सर्जन, जिला पंचायती राज पदाधिकारी, डीआरडीए डायरेक्टर, जनसंपर्क पदाधिकारी, प्रखंड विकास पदाधिकारी (संदेश एवं सहार) सहित अन्य अधिकारी उपस्थित रहे.
ज्ञात हो कि भोजपुर के ये गांव कभी जातीय नरसंहार के रूप में विश्व विख्यात थे. ऐसे गाँवों के टोलों में राज्य के मुख्यसचिव का पहुंचना एक सकारात्मक संदेश देता प्रतीत होता है.चुकि मुख्य सचिव अमृतलाल मीणा भोजपुर के डीएम के रूप में काम कर चुके हैं, इसलिए सामाजिक एवं भौगोलिक स्थिति से बहुत अच्छी तरह परिचित भी हैं.